3 पेज के सुसाइड नोट में डायरेक्टर के लिए लिखा-मरने के बाद भी नहीं छोडूंगा | Written for director in 3-page suicide note – I will not leave even after death

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2 घंटे पहले

झारखंड में एक स्कूली छात्र ने स्कूल के प्रिंसिपल से परेशान होकर घर में फांसी लगा ली। उसने 3 पेज का सुसाइड नोट भी लिखा है। नोट में उनसे स्कूल और डायरेक्टर ​​​​​​(प्रिंसिपल) को जिम्मेदार ठहराते हुए लिखा है कि मरने के बाद भी डायरेक्टर को नहीं छोड़ेगा।

मामला गिरिडीह के बगोदर का है। नेहरु पब्लिक स्कूल के दसवीं के छात्र राकेश कुमार(16) के साथ प्रधानाध्यापक नागेश्वर महतो ने गुरुवार को प्रार्थना सभा में सबके सामने मारपीट की। इससे परेशान होकर छात्र फंदे से झूल गया।

परिजनों का आरोप है कि फीस को लेकर सबसे सामने छात्र के साथ दुर्व्यवहार किया गया। सबके सामने हुए दुर्व्यवहार से अपमानित महसूस होकर दसवीं के छात्र राकेश ने घर आकर फांसी लगा ली। परिजनों ने न्याय की मांग करते हुए थाने का घेराव किया और सख्त कार्रवाई की मांग की है। घटना की सूचना मिलते ही बगोदर विधायक विनोद कुमार सिंह मृतक छात्र के घर पहुंचे।

छात्र की मौत के बाद शिकायत लेकर थाने पहुंचे परिजन और गांव वाले

छात्र की मौत के बाद शिकायत लेकर थाने पहुंचे परिजन और गांव वाले

राकेश तीन भाई बहनों में सबसे छोटा था। परिजनों ने बताया कि जब वह स्कूल से लौटा तो उसने खुद को कमरे में बंद कर लिया। रस्सी के सहारे फांसी लगा ली। जब परिवार वाले उसके कमरे में गये तो दरवाजा खटखटाने के बाद भी उसने दरवाजा नहीं खोला। किसी अनहोनी की आशंका में जब परिजनों ने दरवाजा तोड़ा तो अंदर राकेश का शव फंदे से लटका हुआ है।

शुक्रवार सुबह तकरीबन 9:30 बजे डेढ़ सौ की संख्या में दोंदलो गांव से लोग डेड बॉडी के साथ बगोदर थाना पहुंचे थे। बगोदर थाने में मृतक राकेश के पिता लोचन महतो ने घटना की जानकारी देते हुए आवेदन सौंपा है। जिसमें नेहरू पब्लिक स्कूल बगोदर के संचालक नागेश्वर महतो तथा उसके भाई व शिक्षक ओम प्रकाश महतो को आरोपी बताया है।

छात्र ने 3 पेज का सुसाइड नोट लिखा।

छात्र ने 3 पेज का सुसाइड नोट लिखा।

क्या है सुसाइड नोट में

छात्र ने सुसाइड नोट में अपनी मौत का जिम्मेदार स्कूल को ठहराया है। स्कूल में घटी घटना का जिक्र करते हुए छात्र ने लिखा है- ‘तबीयत खराब होने की वजह से मैं दूसरी लाइन में लगकर स्कूल जा रहा था। प्रिंसिपल के भाई ने मुझे लाइन बदलते हुए देख लिया और मेरे और मेरे परिवार के बार में बुरा कहने लगा। जो बच्चे पैदल स्कूल आते हैं, उसके साथ प्रिंसिपल बुरा व्यवहार करते हैं। जो बच्चे स्कूल की गाडी में आते हैं, उनके देर से स्कूल आने पर भी कुछ नहीं होता लेकिन पैदल वालों को प्रार्थना सभा के बाहर खड़ा कर दिया जाता है। अगले जन्म में मैं अब से बड़ी औकात में पैदा लेना चाहता हूं और डायरेक्टर को जरूर मारूंगा, मैं मरने के बाद भी नागेश्वर (प्रिंसिपल) को छोड़ूंगा नहीं।’ इस सिलसिले में किसी की गिरफ्तारी की भी सूचना नहीं है। नवंबर तक के लिए नेहरू पब्लिक स्कूल में छुट्टी घोषित कर दी है।

16 साल के राकेश ने स्कूल के संचालक नागेश्वर महतो तथा उसके भाई को जिम्मेदार ठहराया है।

16 साल के राकेश ने स्कूल के संचालक नागेश्वर महतो तथा उसके भाई को जिम्मेदार ठहराया है।

फीस के लिए स्कूल ने छात्र को किया परेशान

परिजनों के मुताबिक मृतक राकेश स्कूल गया था, जहां एसेंबली के दौरान स्कूल फीस को लेकर उसे प्रताड़ित किया गया। उसे इस तरह सबके सामने किया गया अपमान बर्दाश्त नहीं हुआ और घर आकर बच्चे ने आत्महत्या कर ली। इस घटना को लेकर परिवार वाले आक्रोश में हैं।

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नकल की जांच में कपड़े उतरवाने पर खुद को जलाया:छात्रा आग की लपटों में घिरी सड़क पर आ गई, लोगों ने पानी डालकर बुझाई

जमशेदपुर के एक स्कूल में नकल के आरोप में टीचर ने सबके सामने कपड़े उतरवाकर छात्रा की जांच की। इस घटना के बाद छात्रा इतनी परेशान और शर्मिंदा हो गई कि उसने घर पहुंच कर खुद को आग लगा ली। नौंवी की छात्रा 95 फीसदी जल चुकी है। उसकी हालत गंभीर है। फिलहाल उसे टाटा मेन हॉस्पिटल (टीएमएच) में भर्ती कराया गया है। मामला सीतारामडेरा के छायानगर के शारदामणि गर्ल्स हाईस्कूल का है। पूरी खबर पढ़ने के लिए यहां क्लिक करें

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